बरेली/ पुलिस को देखकर जुआरियों का नाम ना बताना भोरा के गांव आलमपुर जाफराबाद के 48 वर्षीय किसान संतोष शर्मा की जान को भारी पड़ गया। पुलिस ने उनको मुंह खुलवाने के लिए इतना मारा की वो मौके पर ही बेहोश हो गए और दो दिन अस्पताल में भर्ती रहने के बाद शुक्रवार को उन्होंने ने दम तोड दिया। एसपी और एसपी ने इस मामले में भमोरा थाने के सरदार नगर चौकी इंचार्ज और एक दरोगा समेत 6 पुलिस कर्मियों सहित 10 लोगों के खिलाफ हत्या की रिपोर्ट दर्ज की गई है।
मामला बरेली जिले के भमोरा थाना क्षेत्र का है। जहां पर आलमपुर जाफराबाद के कृष्ण कुमार शर्मा की ओर से दर्ज एफआईआर के अनुसार 8 नवंबर को उनके भाई संतोष खेत से वापस आ रहे थे इसी बीच सरदार नगर चौकी के इंचार्ज टिंकू कुमार कई पुलिस वालों के साथ एक एंबुलेंस से गांव के बाहर जुआ खेलने वाले लोगों को पकड़ने एंबुलेंस लेकर धमके थे। एंबुलेंस से पुलिस के उतरते ही सभी जुआरी मौके से नौ दो ग्यारह गए। तभी खेत से वापस आ रहे किसान संतोष शर्मा को पुलिस ने रोक लिया और उनसे जुआरियों का नाम बताने को कहा परन्तु गांव में भलाई बुराई होने के डर से संतोष ने नाम बताने से साफ मना कर दिया। आरोप है कि इसी बात पर चौकी इंचार्ज समेत सभी पुलिस कर्मियों और एंबुलेंस ड्राइवर के साथ तीन अज्ञात लोगों ने संतोष को बेरहमी से इतना पीटा की जिससे संतोष की हालात गंभीर हो गई। जिससे पिटाई से घायल किसान संतोष शर्मा को बरेली के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया। शुक्रवार को संतोष की मौत हो गई।
मौत की जानकारी मिलने के बाद अस्पताल के बाहर ही परिवार वालों ने हंगामा करते हुए पुलिस के खिलाफ जबरदस्त विरोध प्रदर्शन किया। यह मामला जानकारी में आने पर एसपी घुले सुशील चंद्रभान ने सरदार नगर चौक इंचार्ज टिंकू कुमार, दरोगा नैपाल सिंह, सिपाही पुष्पेंद्र राणा, सिपाही मनोज, सिपाही अंकित, सिपाही दीपक और एंबुलेंस ड्राइवर विजय सहित तीन अज्ञात लोगों पर 147, 504, 302 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। सम्मिलित सभी पुलिसकर्मियों के सस्पेंड कर विभागीय जांच भी शुरू कर दी है। एसएसपी ने एसपी देहात मुकेश चंद्र मिश्र को घटना की जांच का आदेश दिया है।